सीहोर। श्रावण मास की पावन बेला में सीहोर का वातावरण पूरी तरह भक्ति में डूबा नजर आया। रविवार को हजारों श्रद्धालुओं की आस्था की एक अनूठी झलक तब देखने को मिली, जब वे नंगे पैर सीवन नदी घाट से 11 किलोमीटर की कठिन पदयात्रा कर कुबेरेश्वरधाम बाबा भोलेनाथ के दर्शन हेतु निकल पड़े। हर ओर बोल बम के जयघोष गूंज रहे थे, डीजे की धुन और ढोल-मंजीरों की थाप पर भक्ति का सैलाब उमड़ पड़ा।
इस दिव्य माहौल को और अधिक पावन बना दिया शहर के सेवाभावी लोगों ने, जिन्होंने देश के कोने.कोने से आए कांवडिय़ों के स्वागत में कोई कसर नहीं छोड़ी। स्थानीय इंदौर.भोपाल रोड स्थित डी मार्ट के पास पंडित प्रदीप मिश्रा के सेवा पंडाल में सुबह से ही श्रद्धालुओं के लिए गर्मागर्म पोहा और ताजे केले का नाश्ता तैयार किया गया। नाश्ता वितरण का यह पुण्य कार्य शाम तक चलता रहा।
सेवा में लगे हर चेहरे पर एक संतोष भरी मुस्कान थी, मानो भगवान शिव को ही भोग अर्पित कर रहे हों। सेवाभाव से ओतप्रोत लोगों का कहना था, यह हमारा सौभाग्य है कि हमें बाबा भोले के भक्तों की सेवा का अवसर मिला। यही सच्चा धर्म है। श्रद्धालुओं ने इस सेवा को सच्चे शिवत्व की अनुभूति बताया और मुक्त कंठ से प्रशंसा की। सीहोर की सडक़ों पर केवल यात्रियों के पांव नहीं थे, बल्कि आस्था, समर्पण और सेवा के पवित्र पदचिन्ह थे, जो लंबे समय तक लोगों के हृदय में अमिट रहेंगे।